N. Raghuraman’s column: If you’re in the service industry, make big profits with ‘latte’! | एन. रघुरामन का कॉलम: सर्विस इंडस्ट्री से हैं तो ‘लाटे’ से पाएं बड़ा मुनाफ़ा!

- Hindi News
- Opinion
- N. Raghuraman’s Column: If You’re In The Service Industry, Make Big Profits With ‘latte’!
8 घंटे पहले
- कॉपी लिंक

एन. रघुरामन, मैनेजमेंट गुरु
यह क्या है? हम क्या दुकान खोलकर लाटे कॉफी बेचें? आपके मन में ये सवाल आए होंगे, लेकिन मैं अभी लाटे यानी एलएटीटीई का मतलब नहीं बताऊंगा। मैं यह भी नहीं बताऊंगा कि यह कॉफ़ी ही है या कुछ और। क्या आपकी बेसब्री, नज़रों को आखिरी पैराग्राफ़ पर ले जा रही है कि शायद वहां खजाना मिलेगा?
वहां भी जवाब नहीं है। क्योंकि खजाना अक्सर कहीं बीच में छिपा होता है। इसलिए एक-एक वाक्य पढ़कर ही असली मतलब जान पाएंगे। आपको मेरे साथ रायपुर से गोवा और फिर कोच्चि के सफ़र पर चलना होगा। पिछले शुक्रवार मैं एक आमंत्रण पर, 6E 885 फ़्लाइट से इस रूट पर गया था। फ़्लाइट रायपुर से उड़ी और गोवा आई।
हम प्लेन में गोवा से चढ़ने वाले यात्रियों का इंतजार कर रहे थे, जिसके बाद फ़्लाइट कोच्चि जाती। प्लेन में इंतज़ार कर रहे लोगों की सुरक्षा जांच हो रही थी और हाउसकीपिंग स्टाफ, 40 लोगों की मौजूदगी में सफ़ाई कर रहा था। दोनों विभाग के कर्मचारी यात्रियों से बेरुखी से बात कर रहे थे और सभी को असुविधा हो रही थी।
हाउसकीपिंग स्टाफ बुरे लहजे में यात्रियों से सीट से बाहर निकलने कह रहे थे, ताकि नीचे सफाई कर सकें। उनका लहजा वैसा ही था, जैसे कभी-कभी हमारी हाउस हेल्प नाराज होकर कह देती है, ‘मुझे यहां झाड़ू लगाना है, आप दूसरे कमरे में जाओ।’ इससे यात्री नाराज हो गए। उनमें से कुछ तो सो रहे थे और उन्हें उठाया गया।
यात्रियों ने युवा क्रू सदस्यों से शिकायत की, जिनकी उम्र 20-25 वर्ष थी। कई यात्री बोले कि इन बच्चों से क्या होगा? लेकिन उन युवाओं ने ‘लाटे’ परोसी! क्रू ने बात सुनी। दूसरे विभागों की गलतियों की माफी मांगी। कार्रवाई की। एयरलाइन चुनने के लिए धन्यवाद दिया।
सुनिश्चित किया कि ग्राहक संतुष्ट हों। तो यहां एलएटीटीई का मतलब हुआ, एल-लिसन यानी ध्यान से सुनना, ए-अपोलोजाइज़ यानी माफी मांगना, टी-टेक एक्शन यानी कुछ कदम उठाना, टी-थैंक्स यानी ग्राहकों को धन्यवाद देना, ई-एंश्योर सैटिस्फैक्शन यानी ग्राहकों की संतुष्टि सुनिश्चित करना। लंबे समय बाद किसी एयरलाइन कंपनी ने वह किया, जो उनसे उम्मीद होती है।
कोई कंपनी सर्विस इंडस्ट्री में अगर यही रवैया अपनाती है तो वह ग्राहकों के मन में सबसे यादगार ब्रांड बन सकती है। मेरा यकीन न हो तो दुनिया की सबसे बड़ी कॉफ़ी कंपनी स्टारबक्स से पूछिए, जो अपने हजारों कर्मचारियों को, ग्राहकों के साथ व्यवहार के नए तरीके सिखा रही है। कंपनी की सेल लगातार 6 तिमाही से गिर रही है।
प्रतिस्पर्धी उनके नियमित ग्राहकों को आकर्षित कर रहे हैं। नए सीईओ ब्रायन निकोल को अहसास हुआ कि ग्राहक बातचीत और माहौल के बजाय तेजी और कीमत को प्राथमिकता दे रहे हैं। इसलिए ब्रायन ने दो महीने पहले लास वेगस स्पोर्ट्स अरीना में 10,000 स्टोर मैनेजर जुटाकर कहा, ‘चलिए मिलकर एक-दूसरे के बीच में आ रही बाधाओं को दूर करें और उन्हें (ग्राहकों) को वापस लाएं।’
उन्होंने एक नया मॉडल लॉन्च किया जहां कर्मचारियों को ग्राहक का मूड समझने का प्रशिक्षण दिया जाएगा, ताकि कर्मचारी सही हाव-भाव, लहजा और भाषा चुन पाएं। उनसे कहा गया है, ‘एक सेकंड रुकें, नजर मिलाएं, अपना मत या समाधान देने में जल्दबाजी न करें।’
अगर बिजनेस में गिरावट दिख रही है तो बदलाव लाने और नई चीजें आजमाने के लिए तैयार रहें। हो सकता है कि ये कुछ ग्राहकों पर काम करे और कुछ पर नहीं, लेकिन ‘लाटे’ परोसना जारी रखें क्योंकि यह सभी ग्राहकों को पसंद आएगी।
फंडा यह है कि अगर ग्राहकों को हमेशा के लिए जीतना है, तो उन्हें रोज़, हर मिनट लाटे परोसते रहें।
Source link