Thursday 04/ 09/ 2025 

GST Council : गाड़ी खरीदने वालों को मोदी सरकार का दिवाली गिफ्ट! इन वाहनों पर 28% के बजाय 18% जीएसटी – GST Council Meeting Nirmala Sitharaman Small Cars Motorcycles SlashedLive: दिल्ली समेत पूरे NCR के लिए जारी हुआ अलर्ट, अगले 3 घंटे में तेज बारिश और आंधी की संभावनाColumn by Pandit Vijayshankar Mehta- One becomes intelligent not by having intelligence but by polishing the intelligence | पं. विजयशंकर मेहता का कॉलम: बुद्धि होने से नहीं, बुद्धि को मांजने से बुद्धिमान होते हैं‘बातचीत से जंग खत्म करो वरना हथियारों का इस्तेमाल होगा…’, यूक्रेन को पुतिन की चेतावनी – russia ukraine war End war through talks Putin warns Ukraine ntcपंजाब बाढ़: AAP सांसद राघव चड्ढा ने MPLAD Fund से 3.25 करोड़ रुपये की मदद का किया ऐलान, जानें क्या कहा?पोलैंड के पत्रकार पर भड़के ट्रंप, भारत पर लगे प्रतिबंधों को बताया रूस का नुकसान – Trump snaps Polish reporter India sanctions action against Russia ntcदेश की कितनी नदियों में बाढ़ की स्थिति गंभीर, कितनी नदियों का जलस्तर सामान्य से ज्यादा? सामने आया CWC का आंकड़ादूध… पनीर से रोटी तक अब ‘0’ GST, दवाएं-बीमा पॉलिसी भी लिस्ट में, सरकार ने दी बड़ी राहत – GST Council big decision expand zero tax slab cover milk paneer roti insurance see full list tutcGST कटौती पर पीएम मोदी का पहला रिएक्‍शन, राजनाथ सिंह और अमित शाह का भी आया बयानचीन की विक्ट्री परेड: दुनिया ने देखी परमाणु मिसाइलों की ताकत
देश

Column by Pandit Vijayshankar Mehta- One becomes intelligent not by having intelligence but by polishing the intelligence | पं. विजयशंकर मेहता का कॉलम: बुद्धि होने से नहीं, बुद्धि को मांजने से बुद्धिमान होते हैं

  • Hindi News
  • Opinion
  • Column By Pandit Vijayshankar Mehta One Becomes Intelligent Not By Having Intelligence But By Polishing The Intelligence

46 मिनट पहले

  • कॉपी लिंक
पं. विजयशंकर मेहता - Dainik Bhaskar

पं. विजयशंकर मेहता

हम अपने बच्चों का नाम बहुत सोच-संभलकर रखते हैं। पहले सीधे-सादे नाम हुआ करते थे। अब जिसका भी नाम पूछो, उसका अर्थ भी जानना पड़ता है। लेकिन अपने बच्चों की परवरिश में पैसा, समय और परिवार की कीमत जरूर समझाइएगा।

उनके नाम को त्याग और उत्साह से जोड़िए। ये प्रदर्शन का युग है। लोग अपने संकल्पों का भी प्रदर्शन करने लगते हैं और यहीं से दबाव में आ जाते हैं। हमें अपने बच्चों को सिखाना चाहिए कि संकल्प तो लें पर बिना शोर-शराबे के उसे पूरा करें। और जब वो ऐसा कर रहे होंगे तो सुख और दु:ख जीवन में आएंगे।

इसकी तैयारी बहुत कम माता-पिता अपने बच्चों को कराते हैं। क्योंकि सुख भी दु:खों का मध्यांतर है। हम अपने बच्चों से कहें कि स्वाभिमान उतना ही रखें कि गरिमा बनी रहे। बुद्धि होने से कोई बुद्धिमान नहीं हो जाता।

बुद्धि को मांजने से होता है। और बुद्धि को मांजने के लिए सांसारिक और आध्यात्मिक तरीके संयुक्त रूप से आजमाए जाएं। यह बात बच्चों को समझाने का समय आ गया है।

खबरें और भी हैं…

Source link

Check Also
Close



TOGEL88