छात्र, मौलवी और स्टाफ… यूपी ATS ने मांगी मदरसों की डिटेल, अल्पसंख्यक विभाग जुटा रहा डेटा – up ats madrasa investigation banda student staff details lcla

राजधानी दिल्ली में हुए ब्लास्ट के बाद यूपी ATS अलर्ट मोड में है. प्रदेश भर के मदरसों की जांच की प्रक्रिया शुरू करते हुए ATS ने बांदा जिले के मदरसों में पढ़ाने वाले मौलवियों, प्रबंधकों और छात्रों की विस्तृत जानकारी मांगी है. इसके लिए ATS की ओर से जिला अल्पसंख्यक अधिकारी को आधिकारिक पत्र भेजा गया है. पत्र मिलते ही जिले के अल्पसंख्यक विभाग ने सभी मदरसों का डेटा खंगालना शुरू कर दिया है.
जिला अल्पसंख्यक अधिकारी अभिषेक अवस्थी ने बताया कि हमें यूपी ATS से लेटर मिला है, जिसमें उन्होंने जिले के मदरसों में पढ़ने वाले बच्चों, पढ़ाने वाले मौलवियों और प्रबंधकों की डिटेल मांगी है. हम अपने उच्च अधिकारियों से बात करके उन्हें यह सूचना उपलब्ध करा देंगे. हमने जिले के सभी मदरसों से यह डिटेल कलेक्ट करने के संबंध में निर्देश दिए हैं.
बांदा में कुल 25 मदरसे हैं, जिसमें से 8 स्थायी मदरसे हैं, बाकी अस्थायी हैं. इसी के साथ दो एडेड मदरसे भी हैं. अल्पसंख्यक अधिकारी के मुताबिक, यूपी ATS ने उनसे डिटेल मांगी है कि बांदा में कुल कितने मदरसे हैं, यहां के मौलवियों, प्रबंधकों और पढ़ने वाले छात्रों की पर्सनल जानकारी मांगी है, जिसमें नाम, पिता का नाम, पता और मोबाइल नंबर शामिल हैं. इसके बाद विभाग ने मदरसों से डिटेल भेजने के लिए निर्देश दिए हैं.
वही रब्बनियां मदरसे के प्रिंसिपल डॉ. सैयद अबरार अहमद ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से सरकार और ATS ने अच्छा कदम उठाया है, सभी की जांच होनी चाहिए. हमें भी जानकारी मिली है. विभाग जो भी जानकारी मांगेगा, वो हम समय से उन्हें उपलब्ध करा देंगे. हम सभी चाहते हैं कि देश और प्रदेश में कोई भी ऐसी बात न हो, जिससे परेशानियां हों.
प्रिंसिपल ने कहा कि हमारे मदरसे में कुल 348 बच्चे हैं, जिसमें पश्चिम बंगाल, बिहार, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश सहित जगहों के हैं. हम एडमिशन देते वक्त उनका आधार, पिता का आधार कार्ड, पर्सनल डिटेल लेते हैं. इस संबंध में वेरीफिकेशन के बाद ही एडमिशन देते हैं, हमारे यहां 32 टीचर हैं. इस मामले को लेकर जांच प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. विभाग का दावा है कि जल्द ही सभी रिकॉर्ड ATS को सौंप दिए जाएंगे. मौलवियों का सहयोग मिल रहा है.
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