Dharmasthala Mass Burial Probe – धर्मस्थल सामूहिक दफन मामले की जांच तेज, 7वीं साइट से खाली हाथ लौटी पुलिस, नई जगह खुदाई शुरू – Dharmasthala mass burial probe nothing was found at Spot Number seven during exhumation Karnataka Police opnm2

कर्नाटक के धर्मस्थल शहर में सामूहिक दफन के राज का पर्दाफाश करने के लिए गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) ने शुक्रवार को कार्रवाई तेज कर दी. पुलिस सूत्रों के मुताबिक टीम ने चिन्हित सातवें साइट पर खुदाई की गई, लेकिन कोई अवशेष नहीं मिला. एसआईटी अब तलाशी अभियान के अगले चरण साइट संख्या 8 की ओर बढ़ चुकी है. इससे पहले साइट संख्या 6 पर इंसानी कंकाल के अवशेष मिले थे.
जानकारी के मुताबिक, चिन्हित स्थल पर खुदाई के लिए अतिरिक्त मजदूर, भारी मशीनरी और पुलिस बल तैनात किए गए हैं, ताकि तलाशी अभियान तेज किया जा सके. यहां खुदाई के लिए कुल 15 स्थलों को चिह्नित किया गया है. इन स्थानों का खुलासा उस गुमनाम शिकायत के बाद हुआ, जिसे एक पूर्व सफाईकर्मी ने दर्ज कराया था. उसने दावा किया है कि 1995 से 2014 के बीच उसे मजबूरन कई शवों को दफनाना पड़ा था.
यह भी आरोप लग रहे हैं कि जिन शवों को दफनाया गया, उनमें महिलाओं और नाबालिगों के शव भी शामिल थे. कई शवों पर यौन शोषण के स्पष्ट निशान दिखाई दे रहे थे. शिकायतकर्ता ने इन सनसनीखेज आरोपों को मजिस्ट्रेट के सामने बयान देकर दर्ज कराया है. इसी के आधार पर राज्य सरकार ने पिछले दो दशकों से दबे इस प्रकरण की पड़ताल के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया था.
जांच की दिशा तय करेंगे नर कंकाल के अवशेष
फोरेंसिक विशेषज्ञों का कहना है कि अब तक बरामद नर कंकाल के अवशेष जांच की दिशा तय करेंगे. मंगलुरु के विशेषज्ञों ने साफ किया है कि मौत का सही कारण जानने या दफनाने के पीछे किसी दुर्भावना की पुष्टि करने के लिए एक पूरा मानव कंकाल आवश्यक है. यदि सिर्फ कुछ हड्डियां या आंशिक अवशेष मिलते हैं तो उन पर कानूनी रूप से निर्णायक निष्कर्ष निकालना बेहद मुश्किल होगा.
आरोपों पर धर्मस्थल ग्राम पंचायत की सफाई
इसी बीच धर्मस्थल ग्राम पंचायत के अधिकारियों ने आरोपों पर सफाई पेश की है. पंचायत का कहना है कि 1995 से अब तक गांव के अलग-अलग हिस्सों में 200 से ज्यादा लावारिस और अज्ञात शवों को दफनाया गया है. औपचारिक कब्रिस्तान के अभाव में, ऐसे शवों को नदी किनारे, जंगल की जमीन और सरकारी भूखंडों पर दफनाना पड़ा. यह प्रक्रिया पूरी तरह कानूनी औपचारिकताओं के तहत की गई.
एसआईटी ने जारी किया हेल्पलाइन नंबर
हालांकि, इस मामले की जांच में पुलिस के सामने कई चुनौतियां हैं. यदि खुदाई मिले अवशेष नर कंकाल के रूप में साबित भी हो जाते हैं, तो भी वो किसके हैं, इसकी शिनाख्त में समस्या आने वाली है. इसके लिए डीएनए मैच किया जाना जरूरी है और उसके लिए शिकायतकर्ताओं को बड़ी संख्या में सामने आना जरूरी है. शिकायत दर्ज कराने के लिए एसआईटी ने अपना हेल्पलाइन नंबर जारी किया है.
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